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कम उम्र में शादी, गंभीर अपराध

Published - Fri 03, May 2019

शिकायक कर बचाएं नाबालिग लड़की की जिंदगी

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बाल विवाह को अपराध की श्रेणी में रखा गया है, फिर भी लोग लड़कियों को बोझ समझकर बाल विवाह करने से गुरेज नहीं करते। लड़की के लाख मिन्नतें करने के बाद भी उनकी सुनी नहीं जाती। अगर आपके साथ या किसी परिचित के साथ ऐसा हुआ हो, तो डरें नहीं शिकायत करें। लड़की की शादी के लिए वैध उम्र कम से कम 18 साल है। इससे कम उम्र में लड़की की शादी कराना कानून अपराध है। बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम, 2006  अंतर्गत ऐसे व्‍यक्‍ति दंड के पात्र हैं, जो बाल विवाह को बढ़ावा देते हैं। 18 वर्ष से अधिक आयु का ऐसा व्‍यक्‍ति भी दंड का पात्र है, जो 18 वर्ष से कम आयु की लड़की से विवाह करता है। बाल विवाह से पीड़िता वयस्‍क होने के 2 वर्षों के भीतर इस प्रकार के विवाह को अमान्‍य घोषित कराने के लिए न्‍यायालय में आवेदन कर सकती है।

अब तो पंडित, हलवाई भी नहीं बच सकते

बाल विवाह में फेरे करवाने वाले पंडित, खाना बनाने वाले हलवाई, शादी का कार्ड छापने वाले प्रिंटर्स, टेंट लगाने वाले और रिश्तेदारों पर भी कानून का शिकंजा कसा गया है। बाल विवाह होने और पकड़े जाने पर इन सभी के लिए जुर्माने और सजा का प्रावधान है।