बेटे की चाहत में लोग बेटियों को गर्भ में ही मार देते हैं या बेटी के पैदा होने पर उसकी हत्या कर देते हैं। पाल पोस भी लें, तो उनको शिक्षा और सुविधाओं से दूर रखते हैं। बेटियों को बोझ समझने का सबसे बड़ा कारण उनकी शादी और शिक्षा की चिंता होती है। 1991 की जनगणना के आकंड़ों में 0-6 वर्ष तक के बच्चों का लिंगानुपात जहां 945 था, वह 2001 में घटकर 927 और 2011 में 918 पर आ गया। बेटियों को बचाने, कन्याभ्रूण हत्या को रोकने, गिरते लिंगानुपात को बराबरी पर लाने और बालिका शिक्षा का स्तर बढ़ाने के लिए भारत सरकार ने एक योजना शुरू की है, जिसका नाम है ' बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ।' जिसमें बेटियों को पढ़ाई से लेकर शादी तक के लिए आर्थिक सहायता मिलेगी और लोग बेटियों को बोझ न समझकर उन्हें दुनिया में कदम रखने देंगे।
योजना का मकसद: पक्षपाती लिंग चुनाव की प्रक्रिया को खत्म करना, बालिकाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करना, बालिकाओं की शिक्षा को बढ़ावा देना
योजना के लक्ष्य
लिंग आधारित भेदभाव तथा लिंग चयन का उन्मूलन।
बालिकाओं को आत्मनिर्भर बनाना, उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना।
बेटियों की शिक्षा और समाज में भागीदारी बढ़ाना।
यह है योजना
योजना में कन्याओं को दिए जाने वाले लाभ का मकसद भ्रूण हत्या करने वाले और लड़कियों को बोझ समझने वाले लोगों के बीच यह जागरुकता फैलाना है कि
बालिकाएं बोझ नहीं हैं। इस योजना का लाभ उठाकर वे अपनी बेटियों की पढा़ई और शादी में लगने वाले पैसे के बोझ से राहत पा सकते हैं।
पात्रता की शर्तें
लाभार्थी भारतीय होना चाहिए।
यह योजना एनआरआई के लिए नहीं है।
योजना का लाभ जन्म से दस साल की बालिकाएं ले सकती हैं।
योजना का लाभ लेने के लिए लाभार्थी का सुकन्या समृद्धि अकाउंट होना आवश्यक है।
बिटिया के जन्म से लेकर दस वर्ष की आयु पूरी होने तक योजना से जुड़ा जा सकता है।
जरूरी है सुकन्या समृद्धि योजना खाता
पास के बैंक, डाकघर में आप योजना से जुड़ा सुकन्या समृद्धि योजना खाता खुलवा सकते हैं।
खाता 1000 रूपए से खुलेगा जो खाते में जमा हो जायेगा।
खाते में प्रत्येक महीने 1000 रूपए जमा करना अनिवार्य है
साल में कम से कम 12 हजार और अधिकतम 1.5 लाख तक जमा करा सकते हैं।
ये दस्तावेज चाहिए
बेटी का जन्म प्रमाणपत्र
माता-पिता की पहचान का प्रमाणपत्र
आवासीय प्रमाणपत्र होना आवश्यक है।
कैसे करें आवेदन
बेटी बचाओ बेटी पढा़ओ योजना के लिए आवेदन के लिए आप नजदीकी आंगनबाड़ी केंद्र से संपर्क कर सकते हैं। पास के सरकारी बैंक या डाकघर में जाकर आप योजना से जुड़ा एप्लीकेशन फॉर्म भरकर जमा करा सकते हैं।
योजना का लाभ
इस योजना में बेटियों की छात्रवृत्तियों का प्रावधान है, जिसका चयन जिला मुख्यालय से होता है।
योजना के तहत खुलवाया गया सुकन्या समृद्धि योजना अकाउंट में प्रोविडेंट फंड से भी ज्यादा ब्याज दिया जाता है।
योजना के तहत आपको बेटी के नाम पर प्रतिवर्ष अकाउंट में बारह हजार रुपये जमा कराने होंगे। और चौदह वर्ष तक राशि जमा करानी होगी, चौदह वर्ष राशि जमा कराने के बाद आपके पास कुल 1 लाख 68 हजार जमा हो जाएंगे और आपको सरकार की ओर से आपको 6 लाख से ज्यादा रुपये दिए जाएंगे।
खाते में अगर आप ज्यादा राशि जमा कराते हैं, तो आपको बढ़ाकर राशि दी जाएगी।
बेटी की अठारह साल आयु पूरी करने के बाद पचास फीसदी राशि निकाल सकते हैं और बाकी की पचास फीसदी राशि आप बेटी की शादी के समय निकाल सकते हैं।
इस योजना के तहत खोले गए खाते की धनराशि पर सरकार द्वारा किसी भी प्रकार का टैक्स नहीं काटा जाएगा।
योजना से जुड़ी अधिक जानकारी के लिए नीचे क्लिक करें।
http://www.wcd.nic.in/schemes-listing/2419
नारी गरिमा को हमेशा बरकरार रखने और उनके चेहरे पर आत्मविश्वास भरी मुस्कान लाने का मैं हर संभव प्रयास करूंगा/करूंगी। अपने घर और कार्यस्थल पर, पर्व, तीज-त्योहार और सामाजिक, सांस्कृतिक व धार्मिक आयोजनों समेत जीवन के हर आयाम में, मैं और मेरा परिवार, नारी गरिमा के प्रति जिम्मेदारी और संवेदनशीलता से काम करने का संकल्प लेते हैं।
My intention is to actively work towards women's dignity and bringing a confident smile on their faces. Through all levels in life, including festivals and social, cultural or religious events at my home and work place, I and my family have taken an oath to work with responsibility and sensitivity towards women's dignity.