कामकाजी महिलाओं की प्राथमकिताएं और जिम्मेदारियां मां बनने के बाद बढ़ जाती हैं। ऐसे में काम और बच्चे के बीच संतुलन बनाए रखना मुश्किलों भरा होता है। इसके लिए कुछ आसान से टिप्स, जो आपकी मुश्किलों को दूर कर सके।
कामकाजी महिलाओं के लिए घर और ऑफिस एकसाथ संभालना हमेशा से एक बहुत बड़ा चुनौतीपूर्ण काम रहा है। इन दोनों के बीच तालमेल बनाने में कई बार तो उनके प्रयास सफल होते हैं, लेकिन कई बार उन्हें निराशा ही हाथ लगती है। सबसे बड़ी समस्या तो तब आती है जब एक कामकाजी महिला मां बनती है। मां होना अपने आप में एक बहुत बड़ी जिम्मेदारी है। बच्चा हर छोटी-बड़ी जरूरत के लिए मां पर निर्भर होता है। भले ही घर पर बच्चे की देखरेख कोई कर रहा हो लेकिन मां का सारा ध्यान अपने बच्चे पर लगा रहा है। ऐसे में कई बार काम में ढिलाई आ जाती है और नतीजा नकारात्मक मिलता है। आप चाहें तो स्मार्ट तरीके से काम करके और समझदार मां बनकर आप दोनों जिम्मेदारियों को एकसाथ निभा सकती हैं।
- बच्चे और ऑफिस के बीच तालमेल बढ़ाने के लिए पूरी प्लानिंग से काम करें और अपना एक रूटीन फिक्स करें। सारा काम टाइम मैनेजमेंट के हिसाब से करेंगी तो समय से काम खत्म करके आप बच्चे के पास जा सकेंगी।
- बच्चे का सारा सामान एक अलग अलमारी या बॉक्स में रखें ताकि आपका समय बच सके। अपने जरूरी सामान की लिस्ट बना लें और उसकी जगह फिक्स कर दें।
- अगर आपका बच्चा बहुत छोटा है तो अपने पार्टनर से मदद लें, उनसे छोटे-छोटे काम करने को कहें। आपके पार्टनर से मिलने वाली मदद आपके काम को आसान करेगी और आपके पति भी समझेंगे कि आपके लिए अकेले यह सब करना बहुत मुश्किल है।
- बच्चे का ख्याल रखने के लिए आप हैल्पर की मदद ले सकती हैं। मेड को अच्छी तरह समझा दें कि बच्चे को कब खाना देना या फिर उसे किस टाइम पर कौन सी दवा देनी है। कुछ ऐसा सिस्टम बना लें कि दिन में कम से कम दो बार अपने बच्चे के बारे में हालचाल लेती रहें।
- बच्चा होने के बाद बतौर मां आपकी प्राथमिकताएं बदल जाती हैं। जो भी काम करें, उसे इस तरह करें कि इससे आपके बच्चे पर उसका अच्छा प्रभाव पड़े। अपने काम के प्रति भी पूरी तरह निष्ठावान बनी रहें और बेवजह की चिंता-तनाव से दूर रहने की कोशिश करें।
नारी गरिमा को हमेशा बरकरार रखने और उनके चेहरे पर आत्मविश्वास भरी मुस्कान लाने का मैं हर संभव प्रयास करूंगा/करूंगी। अपने घर और कार्यस्थल पर, पर्व, तीज-त्योहार और सामाजिक, सांस्कृतिक व धार्मिक आयोजनों समेत जीवन के हर आयाम में, मैं और मेरा परिवार, नारी गरिमा के प्रति जिम्मेदारी और संवेदनशीलता से काम करने का संकल्प लेते हैं।
My intention is to actively work towards women's dignity and bringing a confident smile on their faces. Through all levels in life, including festivals and social, cultural or religious events at my home and work place, I and my family have taken an oath to work with responsibility and sensitivity towards women's dignity.