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बहुत देर से सीखना शुरू किया, पर क्लास में आगे रही नेहा

Published - Wed 06, Mar 2019

अपराजिता फेस ऑफ कल्चर

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लखनऊ। बचपन से ही डांस सीखना चाहती थीं, लेकिन घर से इसलिए नहीं निकल सकीं क्योंकि कोई ले जाने-लाने वाला नहीं था। थोड़ी बड़ी हुईं, रास्तों की समझ आई तो घर से जाने की इजाजत मिली और नेहा मिश्रा ने डांस क्लास जॉइन कर ली। कथक गुरु स्व. पंडित अर्जुन मिश्रा के बेटे पं.अनुज मिश्रा उनके बचपन के मित्र थे। उन्होंने ही अपने पिता की क्लास जॉइन करने की सलाह उन्हें दी। कथक गुरु ने उनका डांस देखा तो उन्हें अपनी शिष्या बना लिया। दस साल तक उनसे कथक सीखा। नेहा कहती हैं, मैंने कथक देर से सीखना शुरू किया, लेकिन पर क्लास में हमेशा आगे रही। खास बात है कि शिष्या से बहू बनीं नेहा अपनी पारिवारिक परंपरा को बखूबी सहेज रही हैं।

जब बॉलीवुड भी हुआ उनके डांस का दीवाना
नेहा ने अपनी ननद के साथ रियलिटी शो में हिस्सा लिया था। कहती हैं, जब लारा दत्ता समेत सभी जजों ने मेरी तारीफ की तो लगा कि यह मेरी नहीं, लखनऊ घराने की देन है। नेहा बताती हैं, मेरा स्वास्थ्य ठीक नहीं था। वेट भी 99 किग्रा हो गया था, लेकिन थोड़ी सी ज्यादा मेहनत ने सब ठीक कर दिया। देश-विदेश में अपना हुनर दिखा चुकीं नेहा कहती हैं कि फिलहाल मेरी कोशिश कथक में पारंगत ऐसे डांसर तैयार करना है, जो दुनिया तक  पहुंचा सकें लखनवी घराने की खुशबू।
नेहा मिश्रा
कथक नृत्यांगना