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पति शहीद हुए तब ढाई साल का था बेटा, ​उसे भी बनाया सैनिक

Published - Sat 09, Mar 2019

अपराजिता वीर नारी

मथुरा। प्रथम सिंह जब शहीद हुए थे उनकी एक बेटी छह महीने की थी, जबकि बेटा ढाई साल का था। वीरनारी भगवान देवी ने अपने बच्चों के लालन-पालन के लिए काफी संघर्ष किया। बेटी मुकेश कुमारी और बेटे रोहताश सिंह को पढ़ा लिखाकर काबिल बना दिया। भगवान देवी ने अपने बेटे रोहताश को भी सैनिक बना दिया है। रोहताश इस समय नायक हैं और मौजूदा समय में पोस्टिंग गुजरात में है।

शहादत
मांट क्षेत्र के गांव बरौंठ निवासी प्रथम सिंह आर्मी में थे। 1987 में श्रीलंका में शहीद हो गए थे। प्रथम सिंह भारत से श्रीलंका भेजी गई शांति सेना में शामिल थे। वहां मुठभेड़ में वह शहीद हो गए थे। प्रथम सिंह पूरी जांबाजी के साथ लड़े थे।