कराटे एसोसिएशन ऑफ गाजियाबाद के अध्यक्ष संतोष कुमार व हर्ष गिरि ने छात्राओं को सेल्फ डिफेंस के टिप्स सिखाए। उन्होंने कहा, नाखून और पेन के हमले से हमलावर भाग खड़े होंगे। इस सबके लिए हौसला रखना बहुत जरूरी है।
गाजियाबाद। रास्ते में आप पर कोई हमला कर दे तो घबराना नहीं चाहिए। छात्राओं केपास पेन और चुन्नी बड़ा हथियार है। इसके अलावा आप नाखून का भी इस्तेमाल कर सकती हैं। नाखून और पेन के हमले से हमलावर भाग खड़े होंगे। इस सबके लिए हौसला रखना बहुत जरूरी है। यह बातें ईस्ट दिल्ली पब्लिक स्कूल में आयोजित अमर उजाला के अपराजिता 100 मिलियन स्माइल्स अभियान में कराटे एसोसिएशन ऑफ गाजियाबाद के अध्यक्ष संतोष कुमार व हर्ष गिरि ने छात्राओं से कही। उन्होंने छात्राओं को सेल्फ डिफेंस के टिप्स भी सिखाए। साथ ही अभ्यास भी कराया, जिससे वह किसी भी असामाजिक तत्व का मुकाबला कर सकें। इसके साथ ही छात्राओं के प्रत्येक सवाल का जवाब भी सरलता के साथ दिया।
मंगलवार को विजयनगर प्रताप विहार स्थित ईस्ट देहली पब्लिक स्कूल में आत्मरक्षा के बारे में बताया गया। कोच ने कहा कि छात्राएं अधिकतर घर से अकेले ही स्कूल व ट्यूशन जाती हैं। इसलिए उन्हें हमेशा अलर्ट रहना चाहिए। जब भी वह रास्ते में चलें तो चारों तरफ नजरें रखें। कभी भी कोई पीछे से आकर आप पर अटैक कर सकता है। ऐसी स्थिति में पेन और चुन्नी का अच्छे से इस्तेमाल कर सकती हैं। चुन्नी को मनचले की आंखों पर बांधकर पेन से उस पर प्रहार करें। नाखून से भी उस पर हमला करें। इससे मनचले का मनोबल टूट जाएगा और वह भाग खड़ा होगा।
कई बार होता है कि हम मनचलों या हमलावरों को देखकर डर जाते हैं। डरना नहीं चाहिए बल्कि साहस के साथ उनका सामना करना चाहिए। आपके हौसले को देखकर आरोपी डर जाएंगे। देखने को मिलता है कि कुछ मनचले या असामाजिक तत्व रास्ते में छेड़छाड़ करने लगते हैं। डर के कारण छात्राएं विरोध नहीं करती हैं और घर आकर भी अभिभावकों को नहीं बताती हैं। यह बहुत गलत परंपरा है। रास्ते में किसी भी तरह की कोई घटना होती है तो उसके बारे में स्कूल में शिक्षिका और घर पर माता-पिता को जरूर बताएं। अगर, आप ऐसा नहीं करती हैं तो कोई भी घटना होने के लिए बढ़ावा दे रही हैं। कोच ने छात्राओं को मुसीबत के समय असामाजिक तत्वों से लड़ना सिखाया। इस दौरान छात्राओं को विभिन्न सुरक्षात्मक उपायों के बारे में विस्तार से बताया गया और आत्मरक्षा के टिप्स भी दिए गए। कहा कि आत्मरक्षा के लिए किसी उपकरण या हथियारों की आवश्यकता नहीं है। थोड़ी सावधानी, सतर्कता एवं आत्मविश्वास के साथ हम किसी भी दुर्घटना से बच सकते हैं।
बोली छात्राएं
नारी गरिमा को हमेशा बरकरार रखने और उनके चेहरे पर आत्मविश्वास भरी मुस्कान लाने का मैं हर संभव प्रयास करूंगा/करूंगी। अपने घर और कार्यस्थल पर, पर्व, तीज-त्योहार और सामाजिक, सांस्कृतिक व धार्मिक आयोजनों समेत जीवन के हर आयाम में, मैं और मेरा परिवार, नारी गरिमा के प्रति जिम्मेदारी और संवेदनशीलता से काम करने का संकल्प लेते हैं।
My intention is to actively work towards women's dignity and bringing a confident smile on their faces. Through all levels in life, including festivals and social, cultural or religious events at my home and work place, I and my family have taken an oath to work with responsibility and sensitivity towards women's dignity.