लूदर्स कान्वेंट बालिका इंटर कालेज में अपराजिता आत्मरक्षा कार्यक्रम में ताइक्वांडो के प्रशिक्षक की ओर से आत्मरक्षा के टिप्स दिए गए। इस दौरान 2100 छात्राओं को समूह में और एकल ढंग से अभ्यास कराया गया।
गाजीपुर। अमर उजाला फाउंडेशन की ओर से आठ जुलाई सोमवार को शहर के लूदर्स कान्वेंट बालिका इंटर कालेज में अपराजिता आत्मरक्षा कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस मौके पर ताइक्वांडो के प्रशिक्षक की ओर से आत्मरक्षा के टिप्स दिए गए। इस दौरान 2100 छात्राओं को समूह में और एकल ढंग से अभ्यास कराया गया। वक्ताओं ने कहा कि आज के परिवेश में छात्राओं, महिलाओं को अधिकार के प्रति जागरूक होना आवश्यक है। हिंसा से बचाव के लिए आत्मरक्षा के उपाय जानना भी आवश्यक है।
कार्यक्रम में ओसेन स्पोर्ट्स एकेडमी के निदेशक सुशील कुमार गुप्ता ने छात्राओं को अचानक होने वाले हमले से बचने के उपाय बताए। इसके बाद, विभिन्न प्रकार से आगे-पीछे से होने वाले हमलों से बचाव के टिप्स दिए। इसके बाद चाकू से हमला या कई प्रकार से जकड़े जाने पर कैसे बचें, इसका छात्राओं को अभ्यास कराया। कालेज की सभी छात्राओं से संवाद कर उनके सवालों केभी जवाब दिए। प्रधानाचार्य सिस्टर अल्फोंसा ने कहा कि आज के परिवेश में सभी महिलाओं को आत्मरक्षा की जानकारी लेनी चाहिए। आत्मबल बढ़ेगा तो वह अपने पैरों पर खड़ी हो सकेंगी। हर क्षेत्र में बेटियों ने प्रतिभा का लोहा मनवाया है। अन्य वक्ताओं ने कहा कि वह किसी भी क्षेत्र में कदम बढ़ाकर खुद को साबित कर सकती हैं। महिलाओं को घर की दहलीज पार करने की जरूरत है। अमर उजाला को धन्यवाद करते हुए कहा कि जिस प्रकार से जागरूकता अभियान चला रहा है, उसका समाज पर असर देखने को मिलेगा। आज के परिवेश में महिलाओं पर अत्याचार बढ़ रहा है, जो बहुत चिंता की बात है। शिक्षा ही समस्याओं का समाधान है। इसके लिए सभी को प्रयास करना होगा। इस मौके पर आकृति दूबे, आकांक्षा यादव, साक्षी, नंदिनी, पलक राय, जाह्नवी, खुशी सिंह, निधि, सिम्मी, फात्मा बानो सहित बड़ी संख्या में छात्राएं और शिक्षिका उपस्थित रहीं।
नारी गरिमा को हमेशा बरकरार रखने और उनके चेहरे पर आत्मविश्वास भरी मुस्कान लाने का मैं हर संभव प्रयास करूंगा/करूंगी। अपने घर और कार्यस्थल पर, पर्व, तीज-त्योहार और सामाजिक, सांस्कृतिक व धार्मिक आयोजनों समेत जीवन के हर आयाम में, मैं और मेरा परिवार, नारी गरिमा के प्रति जिम्मेदारी और संवेदनशीलता से काम करने का संकल्प लेते हैं।
My intention is to actively work towards women's dignity and bringing a confident smile on their faces. Through all levels in life, including festivals and social, cultural or religious events at my home and work place, I and my family have taken an oath to work with responsibility and sensitivity towards women's dignity.