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भारत की 'जलपरी' माना ओलंपिक में दिखाएंगी कमाल

Published - Tue 20, Jul 2021

गुजरात की माना पटेल भारत की ऐसी इकलौती महिला स्विमर हैं, जो ओलंपिक खेलों में भारत की ओर से पदक की दावेदारी पेश करेंगी। ओलंपिक क्वालीफाई कर माना पहले ही इतिहास रच चुकी हैं, अब उनकी नजर अब ओलंपिक गोल्ड पर है।

नई दिल्ली। खेल के प्रति बेटियों दिनोंदिन नए कीर्तिमान बना रही हैं। इस साल खेलों के महाकुंभ टोक्यो ओलंपिक में देश की कई बेटियां अपना दमखम दिखाएंगी, जिसमें कई चेहरे तो ऐसे होंगे, जो पहली बार ओलंपिक का सफर करेंगे और ऐसा करने वाले वो पहले भारतीय खिलाड़ी होंगे। इसी में एक नाम है, तैराक माना पटेल का। गुजरात की माना ओलंपिक में सौ मीटर बैकस्ट्रोक में हिस्सा लेंगी और ओलंपिक पदक के लिए अपनी दावेदारी पेश करेंगी। माना पटेल से पहले अब तक किसी भी भारतीय महिला तैराक ने ओलंपिक के लिए क्वालीफाई नहीं किया था। माना ने यूनिवर्सलिटी कोटा से टोक्यो ओलंपिक के लिए क्वालीफाई किया है। वह इन खेलों के लिए क्वालीफाई करने वाली तीसरी भारतीय तैराक हैं।
सात साल की उम्र में शुरू की तैराकी
माना पटेल को बचपन से ही तैराकी अपनी ओर खींचती थी। बचपन में ही वो माता-पिता से अपनी इच्छा जाहिर कर चुकी थीं। सात साल की उम्र में उन्होंने पहली बार तैराकी के लिए पानी में कदम रखा। लगातार तैराकी में खुद को निखारती रहीं। जब माना मात्र तेरह साल की थीं, तो उन्होंने भारतीय स्विमिंग में एक नया रिकॉर्ड बना दिया। हैदराबाद में 40वीं जूनियर नेशनल एक्वेटिक्स चैंपियनशिप में 2: 23.41 सेकेंड में 200 मीटर बैकस्ट्रोक पूरा किया और एक राष्ट्रीय रिकॉर्ड तोड़ा। 2: 26.41 सेकेंड का पिछला रिकॉर्ड तैराक शिखा टंडन ने अगस्त 2009 में टोक्यो में एशियाई आयु समूह चैंपियनशिप में अपने नाम किया था।
रोजाना पांच घंटे प्रैक्टिस
माना रोजाना पांच घंटे प्रैक्टिस करती हैं। ओलंपिक पर उनका पूरा फोकस है। खुद को मेंटली फिट रखने के लिए माना योगा, मेडिटेशन और वर्कआउट भी करती हैं। माना पूरी तरह शाकाहारी हैं और अपनी डायट का पूरा ध्यान रखती हैं। उनका मानना है कि मेंटली और फिजिकली फिट होकर ही खेलों में अच्छा किया जा सकता है।  माना के घुटने में 2019 में चोट लग गयी थी और उन्होंने इस साल के शुरू में फिर से पुल में वापसी की।  
कई पदक हैं उनके नाम
माना पटेल अब तक सौ से अधिक मेडल जीत चुकी हैं। माना का कहना है कि उनकी मेडल की अलमारी में कई मेडल हैं, लेकिन वो चाहती हैं कि इसमें ओलंपिक गोल्ड, एशियाड और कॉमनवेल्थ के मेडल भी शामिल हो। पटेल ने राष्ट्रीय खेलों में 50 मीटर बैकस्ट्रोक और 200 मीटर बैकस्ट्रोक में गोल्ड मेडल सहित कई मैडल जीते हैं। 2015 में 60वें राष्ट्रीय स्कूल खेलों में, उसने 100 मीटर बैकस्ट्रोक में स्वर्ण पदक जीता और बैकस्ट्रोक में राष्ट्रीय रिकॉर्ड तोड़ा। इसी इवेंट में उन्होंने 4X100 मीटर फ्रीस्टाइल रिले में राशि पटेल, गीतांजलि पांडे और दिलप्रीत कौर के साथ सिल्वर मेडल भी जीता। पटेल को 2015 में ओलंपिक गोल्ड क्वेस्ट के लिए चुना गया था। 12वें दक्षिण एशियाई खेलों में, उन्होंने 4×100 मीटर फ्रीस्टाइल रिले और 4×100 मीटर मेडले रिले में दो गोल्ड मेडल जीते; 50 मीटर फ्रीस्टाइल स्पर्धा में तीन सिल्वर मेडल 50 मीटर, 100 मीटर बैकस्ट्रोक और 200 मीटर बैकस्ट्रोक और एक ब्रॉन्ज मेडल हासिल किया था। उन्होंने 72वीं सीनियर नेशनल एक्वाटिक चैंपियनशिप 2018 में तीन गोल्ड मेडल भी जीते। 2019 में, एशियाई आयु-समूह चैंपियनशिप, जो बैंगलोर में आयोजित की गई थी, माना पटेल ने एक गोल्ड, चार सिल्वर और एक ब्रॉन्ज सहित छह मेडल जीते।  सहित छह मैडल जीते। अप्रैल 2021 में उज्बेकिस्तान ओपन तैराकी चैंपियनशिप थी, जिसमें उन्होंने 100 मीटर बैकस्ट्रोक में एक मिनट 04.47 सेकेंड का समय निकालकर गोल्ड मेडल जीता था। टोक्‍यो ओलंपिक की तैयारियों के लिये उन्होंने हाल में सर्बिया और इटली में प्रतियोगिताओं में हिस्सा लिया था। बेलग्रेड में उन्होंने 100 मीटर बैकस्ट्रोक में राष्ट्रीय रिकॉर्ड भी बनाया था। माना कहती हैं कि बेलग्रेड में उन्होंने एक मिनट तीन सेकेंड का समय निकाला था, लेकिन टोक्यो ओलंपिक में उनको एक मिनट दो सेकेंड से भी कम समय निकालना है।