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हर मुश्किल का बहादुरी से करें सामना : डीएफओ

Published - Thu 25, Jul 2019

100 मिलियन स्माइल्स कार्यक्रम में छात्राओं को उनके अधिकारों की जानकारी दी महिला अबला नहीं बल्कि अपराजिता है

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शक्तिफार्म। आदर्श राजकीय बालिका इंटर कॉलेज में सोमवार को अमर उजाला के अपराजिता 100 मिलियन स्माइल्स कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इसमें छात्राओं को उनके अधिकारों के प्रति जागरूक किया गया। डीएफओ महातिम यादव ने स्कूल से लेकर आईएफएस बनने तक के जीवन वृतांत को सुनाकर छात्राओं को प्रेरित किया। कार्यक्रम में एक हजार छात्राओं ने शपथ पत्र भरें।
कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि हल्द्वानी वन प्रभाग के डीएफओ महातिम यादव, किशनपुर वन रेंजर प्रदीप धौलाखंडी, शक्तिफार्म चौकी प्रभारी प्रवीण महरा, अजीम प्रेमजी फाउंडेशन कोआर्डिनेटर दीपा रानी और प्रधानाचार्य शशिकला सिंह ने संयुक्त रूप से किया। इस दौरान छात्राओं ने सरस्वती वंदना और सांस्कृतिक कार्यक्रमों से समा बांधा। ज्योति तरफदार और कनिका ने...ओरी चिरैया नन्हीं सी चिड़िया गीत पर भावुक प्रस्तुति दी।
डीएफओ महातिम यादव ने कहा कि हमें जीवन में आने वाली हर मुश्किल का बहादुरी से सामना करना चाहिए। वहीं, रेंजर धौलाखंडी ने बताया कि आज की महिला अबला नहीं बल्कि अपराजिता है। वहीं, चौकी प्रभारी प्रवीण महरा ने महिला कानून और अधिकारों की जानकारी सांझा की। दीपा रानी ने कहा कि आज की नारी आत्मनिर्भर बन समाज की तस्वीर बदलने में सक्षम हैं। वहां प्रवक्ता बीना मेहरा, प्रवक्ता प्रियंका सिंह, शिक्षिका सुमनलता, छात्रा कविता रावत, दीपा बिष्ट मनीषा अग्रवाल, ऊषा पांडे, सुमन बिष्ट, रीता रानी, भावना, विनीता दुबे, चंद्रावती, निशा, नीता जोशी आदि थे।

सवाल-जवाब
प्रवीण महरा, चौकी प्रभारी।

  • शादी से पूर्व एवं बाद में दहेज की मांग की शिकायत किससे करें? - मनीषा छात्रा।

 

उत्तर- ऐसे तत्वों के खिलाफ कानून में भारतीय दहेज निवारण अधिनियम बना है। इसके तहत मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की जा सकती है। - महातिम यादव, डीएफओ

 

  • सिविल सेवा की तैयारी कैसे करें ? - निकिता विश्वास, छात्रा।

 

उत्तर-इंटर में अच्छे अंक लाकर बेहतर कॉलेज में प्रवेश का प्रयास करना चाहिए। नियमित रूप से अध्ययन कर विषय में अच्छी पकड़ बनानी चाहिए। -प्रदीप धौलाखंडी, रेंजर

 

  • लड़का-लड़की में भेदभाव पूर्ण व्यवहार कैसे दूर किया जा सकता है?  - सुमित्रा राय छात्रा।

उत्तर - सामाजिक असमानता को दूर करने की जरूरत है। प्रत्येक जिले में वन स्टॉप सेंटर और 1098 की जानकारी दी जानी चाहिए। -दीपा रानी, कोआर्डिनेटर एपीएफ

 

  • वंश वृद्धि में बालिका के जन्म को अभिशाप क्यों माना जाता है?  - त्रिलोत्मा

उत्तर -बालिकाएं स्वाबलंबी बन परिवार चलाने में योगदान देकर ऐसी धारणा को बदल सकती हैं।

डीएफओ ने लगाया पौधा
शक्तिफार्म। आदर्श राबाइंका में अपराजिता कार्यक्रम के अंत में डीएफओ महातिम यादव ने वन टीम और शिक्षक-शिक्षिकाओं के साथ स्कूल परिसर में पौधरोपण किया। उन्होंने कहा कि स्वस्थ जीवन के लिए पर्यावरण को स्वच्छ रखना बेहद जरूरी है। हमें अपने घरों के आसपास पेड़ लगाने चाहिए।

मैं हूं अपराजिता
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मैं हूं आन की नारी।
मैं हूं अपराजिता।।
मैं हूं राधा मैं हूं काली।
मैं दुर्गा, चंडी वैशाली।।
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मैं श्वेता हूं मैं पुनीता हूं।
मैं जाग की तारनहारी।।
मैं जीवन का बहता रस।
मुझ बिन जीवन नीरस।।
मैं मधुर सुगंधित बयार।
नदी झरनों में बहता फुवार।।
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मैं अबला नादान नहीं हूं।
दबी हुई पहचान नहीं हूं।।
मैं मां बहन और बेटी हूं।
मैं विदुषी और कवियत्री हूं।।
अपने भुजबल से जीती हूं।
मैं अश्रु भी पी लेती हूं।।
मैं आज भी परम पुनीता।
मैं हूं अपराजिता, मैं हूं अपराजिता।।

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नीता जोशी, प्रवक्ता- राबाइंका शक्तिफार्म।